हरियाणवी नाट्य साहित्य ( Haryanvi Natya Sahitya )

हरियाणवी नाट्य साहित्य हरियाणवी उपन्यास और कहानी साहित्य की भांति बहुत अधिक विस्तृत नहीं है | हरियाणवी भाषा में दृश्य नाटक तथा श्रव्य नाटक दोनों प्रकार के नाटक लिखे गए हैं परंतु हरियाणवी नाटकों की संख्या अधिक नहीं है | हरियाणवी भाषा में रचित केवल कुछ नाटक ही ऐसे हैं जो कतिपय विद्वानों द्वारा बताए … Read more

हरियाणवी कहानी साहित्य ( Haryanvi Kahani Sahitya )

कहानी गद्य साहित्य की एक ऐसी विधा है जिसमें किसी व्यक्ति के संपूर्ण जीवन का चित्रण न कर उसके जीवन के किसी अंग विशेष का चित्रण किया जाता है | कहानी कहना मनुष्य का स्वभाव है | सुख-दुख, आशा-निराशा, मिलन-विरह आदि का नाम ही जीवन है | मनुष्य के जीवन की यही खट्टी-मीठी बातें आकर्षक … Read more

हरियाणवी उपन्यास साहित्य ( Haryanvi Upnyas Sahitya )

आधुनिक साहित्य में गद्य विधाओं का प्रचुर मात्रा में विकास हुआ है | संभवत: इसीलिए विद्वानों ने आधुनिक युग को गद्य युग की संज्ञा से अभिहित किया है | उपन्यास भी गद्य साहित्य की एक महत्वपूर्ण विधा है | हरियाणवी उपन्यास साहित्य की परंपरा को जानने से पूर्व उपन्यास के अर्थ को जानना आवश्यक होगा … Read more

वस्तुनिष्ठ प्रश्न ( हिंदी ), बी ए – छठा सेमेस्टर ( Vastunishth Prashn, Hindi, BA – 6th Semester )

◼️ ‘आशा का अंत’ निबंध के लेखक का नाम बताइए | उत्तर – बालमुकुंद गुप्त | 🔹 बालमुकुंद गुप्त का जन्म कब और कहां हुआ? उत्तर – बालमुकुंद गुप्त का जन्म 14 नवंबर, 1865 को हरियाणा के झज्जर जिले के गुड़ियानी गांव में हुआ | 🔹 बालमुकुंद गुप्त की मृत्यु कब हुई? उत्तर – सन … Read more

हरियाणवी कविता : परिचय एवं प्रवृतियां

हरियाणवी कविता की परंपरा ( Haryanvi Kavita Ki Parampara ) अत्यंत प्राचीन है | कुछ विद्वान हरियाणवी कविता का इतिहास भी हिंदी कविता के समानांतर मानते हैं | श्री राजाराम शास्त्री ने हरियाणवी कविता का आरंभ सातवीं-आठवीं सदी से माना है | अनेक आलोचक उनके मत को अस्वीकार करते हैं और इसे अतिशयोक्तिपूर्ण मानते हैं … Read more

हरियाणा की सांग परंपरा ( Haryana Ki Sang Parampara )

हरियाणा में लोक साहित्य का विशेष एवं अनूठा योगदान है | लोक साहित्य या जन-साहित्य वह साहित्य होता है जिसमें स्थानीय साहित्यकारों द्वारा लोक-भाषा में जन-जीवन की झांकी प्रस्तुत की जाती है | हरियाणा की सांग परंपरा हरियाणवी लोक साहित्य का सर्वाधिक लोकप्रिय पक्ष रहा है | सांग का अर्थ ( Saang Ka Arth ) … Read more

हरियाणवी भाषा की प्रमुख बोलियां ( Haryanvi Bhasha Ki Pramukh Boliyan )

हरियाणवी भाषा से अभिप्राय हरियाणा प्रदेश की भाषा से है | हरियाणा प्रदेश में बोली जाने वाली भाषा को ‘हरियाणवी‘ कहा जाता है | हरियाणवी भाषा हरियाणा प्रदेश के लोगों से जुड़ी हुई भाषा है जो यहां के लोगों के पारस्परिक वैचारिक आदान -प्रदान का प्रमुख साधन है | हरियाणवी भाषा को बांगरू, कौरवी, दक्षिणी … Read more

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