वाक्य : अर्थ, परिभाषा एवं वर्गीकरण ( Vakya : Arth, Paribhasha Evam Vargikaran )

    ⚫️ वाक्य : अर्थ,  परिभाषा एवं वर्गीकरण ⚫️(Vakya : Arth, Paribhasha Evam Vargikaran)                  🔷 वाक्य का अर्थ 🔷                 ( Vakya Ka Arth ) भाषा का प्रमुख लक्ष्य विचारों का संप्रेषण है | इस दृष्टि से वाक्य का विशेष … Read more

नगर, व्यापारी और शिल्पीजन ( कक्षा-7 ) ( Towns, Traders And Craftspersons )

        ⚫️  नगर,  व्यापारी और शिल्पीजन ⚫️        ( Towns, Traders And Craftspersons ) ◼️ चोरों की राजधानी तंजावर (तमिलनाडु ) थी | तंजावर का बृहदेश्वर मंदिर विश्व विख्यात है जिसका निर्माण चोल राजा राजराज प्रथम ने करवाया था |🔹कावेरी नदी तंजावर के पास बहती है | इस नगर के … Read more

शासक और इमारतें ( कक्षा-7) ( Rulers And Buildings )

              ⚫️  शासक और इमारतें ⚫️              ( Rulers And Buildings )   ◼️ कुतुब मीनार ( Kutub Minar ) दिल्ली में स्थित है | इसका निर्माण कुतुबुद्दीन ऐबक ( Kutubddin Ebak ) ने आरंभ किया था | यह 5 मंजिली इमारत है | इसकी … Read more

मुग़ल साम्राज्य ( कक्षा-7) ( Mughal Empire )

                  ⚫️  मुग़ल साम्राज्य ⚫️                    ( Mughal Empire )   ◼️ मुगल कौन थे?  :-  गूगल दो महान शासक वंशों के वंशज थे | माता की ओर से वे चीन और मध्य एशिया के मंगोल शासक चंगेज खान … Read more

हजार वर्षों के दौरान हुए परिवर्तनों की पड़ताल ( कक्षा-7 )( Tracing Changes Through A Thousand Years )

      हजार वर्षों के दौरान हुए परिवर्तनों की पड़ताल  ( Tracing Changes Through A Thousand Years ) ◼️अल-इद्रीसी ( Al Idrisi )  एक अरब भूगोलवेता  थे उन्होंने 1154 ईस्वी में एक नक्शा बनाया जो भारतीय महाद्वीप को दर्शाता है परंतु इसमें दक्षिण भारत उस जगह है जहां आज हम उत्तर भारत देखते हैं | … Read more

रीतिकाल : परंपरा एवं प्रवृत्तियां ( Reetikal : Parampara Evam Pravritiyan )

             रीतिकाल : परंपरा एवं प्रवृतियां     ( Reetikal : Parampara Evam Pravrityan )   हिंदी साहित्य के इतिहास को तीन भागों में बांटा जा सकता है – आदिकाल,  मध्यकाल व आधुनिक काल | मध्यकाल के पूर्ववर्ती भाग को भक्तिकाल तथा उत्तरवर्ती काल को रीतिकाल ( Reetikal ) के नाम … Read more

रीतिसिद्ध काव्य : परंपरा एवं प्रवृत्तियां ( Reetisiddh kavya: Parampara Evam Pravritiya )

              रीतिसिद्ध काव्य परंपरा    हिंदी साहित्य के इतिहास को तीन भागों में बाँटा जा सकता है – आदिकाल, मध्यकाल व आधुनिक काल | मध्यकाल के पूर्ववर्ती काल को भक्तिकाल तथा उत्तरवर्ती काल को रीतिकाल के नाम से जाना जाता है |  रीतिकाल की समय-सीमा संवत 1700 से संवत … Read more

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